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एस टी एफ और वन विभाग ने बाघ की खाल तस्करी मामले में किया दो और आरोपी को गिरफ्तार। 

एस टी एफ और एस ओ जी वन विभाग ने बाघ की खाल तस्करी मामले में किया दो और आरोपी को गिरफ्तार।

बाघ के शिकार और खाल व अंगों की तस्करी के मामले में तराई पूर्वी वन प्रभाग ने दो और वन्यजीव तस्करों की गिरफ्तारी की है। गिरफ्तार दोनों तस्कर शातिर शिकारी अर्जुन उर्फ कौआ के साथी हैं। बाघ के शिकार में लिप्तता की पुष्टि के बाद इनकी गिरफ्तारी हुई है। वन कर्मियों ने दोनों तस्करों को खटीमा में अपर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत में पेश करने के बाद न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया है। प्रकरण में अब तक सात आरोपी जेल भेजे जा चुके हैं।

बीते शनिवार रात उत्तराखंड एसटीएफ, वाइल्ड लाइफ क्राइम कंट्रोल ब्यूरो और तराई पूर्वी वन प्रभाग की संयुक्त टीम ने खटीमा के पहेनिया टोल प्लाजा से धारचूला निवासी चार शातिर वन्यजीव तस्करों कृष्ण कुमार, गजेंद्रसिंह, संजय कुमार और हरीश कुमार को बाघ की खाल और उसकी 15 किलो हड्डी के साथ गिरफ्तार किया। उन्होंने खाल और हड्डियां काशीपुर में अर्जुन सिंह से लाने की बात स्वीकारी थी। रविवार को एसटीएफ ने काशीपुर से अर्जुन उर्फ राजेंद्र उर्फ कौआ निवासी प्रगति विहार रिस्पना पुल के पास देहरादून को गिरफ्तार कर लिया। डेढ़ दशक से वन्यजीव अंगों की तस्करों में लिप्त रहा अर्जुन उर्फ कौआ फरवरी 2013 को राजाजी नेशनल पार्क में पैंगोलिन के शल्क की तस्करी में जेल गया था। अर्जुन से हुई पूछताछ के बाद उसने कुछ साथियों के नाम बताए थे। इसके बाद वन विभाग की टीम ने शमशाद उर्फ बाबू निवासी रेहड़ बिजनौर और मांगी गुर्जर निवासी गुर्जर बस्ती गैंडीखाता चिड़ियापुर हरिद्वार को गिरफ्तार कर लिया। डीएफओ संदीप कुमार ने बताया कि बाघ के शिकार और तस्करी मामले में दोनों आरोपियों की संलिप्तता पाए जाने पर उनकी गिरफ्तारी की गई है। मामले में गहन जांच की जा रही है। जांच में जो नाम सामने आएंगे, उनकी लिप्तता की पुष्टि होने पर कार्रवाई की जाएगी।

मांगी गुर्जर ने दिया था चकमा, धरा गया शिकारी अर्जुन से पूछताछ से मिले इनपुट के आधार पर एसटीएफ और वन विभाग की संयुक्त टीम ने हरिद्वार से मांगी गुर्जर को पूछताछ के लिए उठाया था। मंगलवार को सात घंटे तक एसटीएफ और वन विभाग की टीम ने मांगी से पूछताछ की थी लेकिन वह टीम को चकमा देने में कामयाब रहा था। करीब सात घंटे पूछताछ के बाद जब उसकी लिप्तता की पुष्टि नहीं हुई तो वन विभाग ने उसको परिजनों के सुपुर्द कर दिया था। बुधवार को मांगी की लिप्तता के बारे में अहम जानकारियां मिली थी और शमशाद का नाम भी सामने आया था। इसके बाद वन विभाग की टीम ने दोनों को गिरफ्तार कर जेल भेजा। बाघ के शिकार में शामिल मुख्य आरोपी अर्जुन उर्फ कौआ के बावरिया गिरोह से संपर्क सामने आ रहे हैं। देश के बड़े वन्यजीव तस्करों में शामिल तोताराम बावरिया के बेटे हरद्वारी लाल से अर्जुन के संपर्क रहे हैं। पिछले साल लक्सर में तीन अन्य साथियों के साथ बाघों की खाल के साथ पकड़ा गया हरिद्वारी जेल में है। उसका पिता तोताराम के भी जेल में होना बताया जा रहा है। वन विभाग बावरिया गिरोह के कौआ और उसके साथियों से संपर्क की डोर को खंगाल रही है।

uttarakhandlive24
Author: uttarakhandlive24

Harrish H Mehraa

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